Publish Date:21-Feb-2017 14:07:42
पाकिस्तान के खैबरपख्तूनवा के चरसड्डा जिले में कोर्ट के पास सीरियल बम बलास्ट हुए हैं। कोर्ट के पास तीन धमाकों की खबरें आ रही हैं। पाकिस्तानी मीडिया की खबरों के मुताबिक सुरक्षा बलों ने तीन आत्मघाती हमलावरों को मौके पर ही मार गिराया है। हमले में एक वकील और दो पुलिसकर्मियों के भी मारे जाने की खबर है। इसके अलावा 12 लोग घायल बताए जा रहे हैं जिसमें 10 पुलिस के जवान है। इस हमले की जिम्मेदारी तहरीक-ए-तालिबान से अलग हुए जमात-उल-अहरार ने ली है। अमेरिका ने 2016 में जमात-उल-अहरार को वैश्विक आतंकी संगठन की सूची में शामिल किया था।
पुलिस के मुताबिक कोर्ट के बाहर विस्फोटों के बाद आतंकियों ने अंधाधुंध गोलीबारी की। सुरक्षा बलों और पुलिसकर्मियों ने इलाके की घेराबंदी कर दी है। चरसड्डा के पुलिस उपायुक्त ने बताया कि सुरक्षा को हाई अलर्ट पर रखा गया है। पाकिस्तान में बीते एक हफ्ते में कई फिदायीन हमले हुए हैं जिसमें सौ से ज्यादा लोगों की मौत हुई है।
स्थानीय प्रशासन के मुताबिक, तीन हमलावरों ने मुख्य दरवाजे से कोर्ट में घुसने की कोशिश की। कोर्ट के गेट पर ही उन्होंने फायरिंग शुरू करते हुए ग्रेनेड उछाला। इसके बाद पुलिस ने कार्रवाई करते हुए एक फिदायीन को वहीं मार गिराया। जबकि दूसरे को कोर्ट परिसर के भीतर मार गिराया गया। हालांकि अभी तक यह जानकारी नहीं मिल पाई है कि तीसरा हमलावर कैसे मारा गया।
पाकिस्तानी मीडिया में आ रही खबरों के मुताबिक आतंकियों की तरफ से गोलीबारी भी की जा रही है। टीवी मीडिया के मुताबिक हमले में लोगों के मारे जाने की भी खबरें आ रही है। बता दें कि शाहबाज कलंदर दरगाह पर हुए आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान में बड़े पैमाने पर आतंकरोधी अभियान चलाया जा रहा है, जिसमें 100 से अधिक आतंकियों को मारा जा चुका है।
2016 में पाक में हुए 5 बड़े धमाके
25 अक्तूबर, 2016 को बलूचिस्तान की राजधानी क्वेटा में पुलिस कॉलेज पर हुए हमले में 59 जवान मारे गए थे। ISIS के सुसाइड बेल्ट पहने हमलावरों ने किया था धमाका।
2 सितंबर, 2016 को पाकिस्तान के मरदान में एक अदालत परिसर में हुए धमाके में कम से कम 12 लोग मारे गए थे और 50 से अधिक घायल हुए थे।
8 अगस्त, 2016 को क्वेटा के सोल अस्पताल में हुए धमाके में कम से कम 69 लोग मारे गए और 112 घायल हुए थे। ये धमाका सोल अस्पताल के इमरजेंसी में हुआ था।
मार्च, 2016 में लाहौर के एक पार्क में हुए धमाके में कम से कम 69 लोग मारे गए थे, जिनमें अधिकतर महिलाएं और बच्चे थे।
पाकिस्तान तालिबान के एक गुट ने ईस्टर की पूर्वसंध्या पर हुए इस धमाके की ज़िम्मेदारी ली थी।
मार्च, 2016 में ही पेशावर की एक बस में हुए धमाके में कम से कम 15 लोग मारे गए थे और करीब 30 लोग घायल हुए थे।
साभार- लाइव हिन्दुस्तान