Publish Date:27-Mar-2018 13:29:13
फर्जी काॅल सेंटर चलाने वाली संचालिका और मेनेजर दिल्ली से गिरफतार
फर्जी वेवसाईट बनाकर बैरोजगार युवाओ से कर रहे थे ठगी
ऽ 06 माह में 2000/- बैरोजगारों को बना चुके थे अपना ठगी का शिकार, फर्जी वेवसाईट बनाकर निकालते थे लोगों का पैसा, साईट पर व्दसपदम लेते थे कार्ड/व्ज्च् की जानकारी, फर्जी कंपनी बनाकर ेीपदमण्बवउ से डाटा खरीदकर, बैरोजगारों का डेटा और चुराकर बनाते थे ठगी का षिकार, राज्य एवं राज्य के बाहर के हजारों बैरोजगारों को बनाया था अपना षिकार।
ऽ वेवसाईट पर लोगो से नौकरी दिलाने का 199/- रूपये चार्ज दिखाकर भरवा लेते डेबिट/के्रडिट कार्ड की जानकारी ।
ऽ पेमेन्ट कमबसपदम होने के बाद पेमेन्ट गेटवे के माध्यम से निकाल लेते थे लोगों का पैसा।
ऽ फरियादी नफीस खान की षिकायत पर पकडाए फर्जी काॅल सेंटर चलाने वाली संचालिका एवं मेनेजर।
ऽ स्कूल/काॅलेज लडकियों को रखते थे 10-15 हजार रूपये प्रतिमाह पर, एक दर्जन लडकियां करती थी, इस काॅल सेंटर में काम ।
ऽ 31 मार्च को समेटने वाले थे अपना कारोबार, इससे पहले ही साइबर ने डाला छापा।
साइबर क्राईम पुलिस भोपाल ने फर्जी काॅल सेंटर चलाने वाले 02 ऐसे आरोपियों को दिल्ली से गिरफतार किया है, जिसने से एक लडकी है जो की काॅल सेंटर की डायरेक्ट थी, और आरोपी लडका मेनेजर जो दोनो फर्जी वेवसाईट बनाकर बैरोजगारो को नौकरी देने का दावा करते थे, और नौकरी के नाम पर 199/- रूपये चार्ज शुल्क के नाम पर लोगो के एटीएम और क्रेडिट कार्ड की जानकारी भरवा लेते थे, लोगों के द्वारा जैसे ही वेवसाईट पर कार्ड नंबर डालकर शुल्क जमा किया जाता था। तब उनको सामने शुल्क जमा होने की बजाय पेमेन्ट कमबसपदमक होना बताता था, और दोनो आरोपियों के पास लोगों के कार्ड की जानकारी आ जाती थी, जिसके बाद काॅल सेंटर संचालिका लोगों को फोन करके तरह-तरह के लालच देकर ओटीपी प्राप्त कर बैरोजगारों से ठगी कर लेते थे।
फरियादी नफीस खान निवासी सराय सिकंदरी भोपाल जो कि एम0पी0आॅनलाईन का संचालन करता है, ने साइबर पुलिस को एक लिखित षिकायती आवेदन पत्र में बताया कि 01/02/2018 को भोपाल निवासी एक लडकी छंनांतपेमंतबीण्पद पर अपना प्रोफाईल अपडेट करवाने के लिये आई थी, जिसपर लडकी के द्वारा वेवसाईट पर अपना प्रोफाईल डाटा अपडेट करने के बाद फीस 199/- रूपये पेमेन्ट वेवसाईट पर जमा करना अनिवार्य था, जो फरियादी एम0पी0आॅनलाईन संचालक के द्वारा किया तो पेमेन्ट कमबसपदमक हो गया, और लडकी का डाटा संबमिट नहीं हो पाया, परन्तु फरियादी के द्वारा अपना बेलेन्स चेक करने पर 199/- रूपये की बजाय 5000/- रूपये वेवसाईट एक्सेस करने के बाद ही उसके खाते से निकल गया।
साइबर पुलिस भोपाल द्वारा फरियादी के षिकायती आवेदन पत्र से अपराध क्रमांक 45/18 धारा 120(बी), 420, 468 भादवि, 66(डी) आईटीएक्ट का प्रकरण पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया । प्रकरण से संबंधित साक्ष्यों के आधार पर पाया कि फर्जी वेवसाईट दिल्ली से एक्सेस की जा रही है। जिसके जरिये लोगो के साथ नौकरी के नाम पर एटीएम और के्रडिट कार्ड की जानकारी भरवा ली जाती है, और ठगी को अंजाम दिया जाता है।
साइबर क्राइम पुलिस भोपाल की एक विशेष टीम गठित कर फर्जी वेवसाईट चलाने वाले अपराधियों की तलाष हेतु टीम को दिल्ली रवाना किया गया । दिल्ली में 03 दिन निरंतर तकनीकी व मुखबिरी सूचनातत्रों के आधार पर सामने आया कि दिल्ली के शादीपुर क्षेत्र में स्थित बवउउमतबपंस बवउचसमग में तीसरे माले पर एक महिला एवं पुरूष के द्वारा एक काॅल सेंटर संचालित किया जा रहा है। तस्दीक करने पर पाया कि काॅल सेंटर के माध्यम से ही बैरोजगार लोगों के साथ फर्जी वेवसाईट बनाकर ठगी की जा रही है। दोनो आरोपीगणों को साइबर पुलिस द्वारा गिरफतार कर माननीय न्यायालय पेष किया गया, जहां से दोनो आरोपियों को न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया गया है।
दोनो गिरफतारशुदा आरोपियों ने पुलिस को उनके द्वारा छंनांतपेमंतबीण्पद नामक वेवसाईट बनाई थी। जिसपर लोगो के द्वारा अपना बायोटाडा फीड करने के बाद में नौकरी मिलना संभव है। जिसका शुल्क 199/- रूपये है। परन्तु लोगों के द्वारा जैसे ही पेमेन्ट किया जाता तो वेवसाईट पर भरी जानकारी आरोपियों को तुरंत मेल के माध्यम से प्राप्त हो जाती थी। जिसके बाद वह लोगों के साथ ठगी कर लेते थे। पहले दूसरे गिरोह में काम करती थी, सरगना फिर बनाया था, स्वयं का गिरोह ।
1. मोनिका उम्र 23 साल पिता छोटेलाल निवासी- मोतीनगर दिल्ली काॅल सेन्टर की संचालिका 12वी तक पढाई की है।
2. नवीन कुमार पिता सलेखचन्द्र उम्र 28 साल निवासी- ज्योतिनगर, पष्चिमी दिल्ली काॅल सेंटर का मेनेजर डठ। तक पढाई किया है।