Publish Date:30-Apr-2019 22:13:21
130 करोड़ लोगों के प्रतिनिधि को राष्ट्रद्रोही कहना पूरे देश का अपमानः प्रभात झा
राज्यपाल से मिलकर की कांग्रेस नेता सिद्धू की शिकायत
भोपाल। पंजाब के कैबिनेट मंत्री नवजोतसिंह सिद्धू द्वारा प्रधानमंत्री जैसे संवैधानिक पद पर पदस्थ व्यक्ति को राष्ट्रद्रोही कहना कोई साधारण घटना नहीं है। यह एक शर्मनाक घटना है और भारतीय जनता पार्टी इसे किसी कीमत पर बर्दाश्त नहीं करेगी। यह बात भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रभात झा ने कांग्रेस के स्टार प्रचार नवजोत सिंह सिद्धू द्वारा सोमवार को बैरागढ़ में आयोजित सभा के दौरान प्रधानमंत्री मोदी पर की गई अपमानजनक टिप्पणी पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कही।
नवजोतसिंह सिद्धू द्वारा प्रधानमंत्री श्री मोदी पर की गई टिप्पणी पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष श्री प्रभात झा ने कहा कि सिद्धू स्वयं कैबिनेट मंत्री हैं और उन्होंने भी संविधान की शपथ ली है। इसके बावजूद उन्होंने प्रधानमंत्री जी के प्रति इस तरह की भाषा और शब्दों का प्रयोग किया है, जो हमारे कानून और संविधान का उल्लंघन है। उन्होंने सिद्धू से पूछा कि जो व्यक्ति 130 करोड़ जनता का प्रतिनिधि है, जो लाल किले से देश का झंडा फहराता है, वह राष्ट्रद्रोही कैसे हो सकता है।
दिग्विजय सिंह को ऐसे ही लोग मिलते हैं
झा ने मीडिया से चर्चा करते हुए कहा कि लोकसभा चुनाव में कांग्रेस के प्रत्याशी दिग्विजयसिंह स्वयं राज्यसभा सदस्य हैं और संविधान को भली भांति जानते हैं। सिद्धू उन्हीं के समर्थन में सभा लेते हुए प्रधानमंत्री के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी करते रहे, लेकिन उन्होंने सिद्धू को नहीं रोका। श्री झा ने कहा कि चाहे कन्हैया कुमार हों, या नवजोतसिंह सिद्धू, दिग्विजयसिंह को उनके प्रचार के लिए ऐसे ही लोग मिलते हैं।
निर्वाचन आयोग और पुलिस से की कार्रवाई की मांग
भारतीय जनता पार्टी ने नवजोतसिंह सिद्धू द्वारा सभा के दौरान प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी पर झूठे और मनगढ़ंत आरोप लगाए जाने की शिकायत करते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। पार्टी का एक प्रतिनिधिमंडल मंगलवार को मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय पहुंचा और इस संबंध में शिकायत सौंपी। इसके साथ ही पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष श्री प्रभात झा ने बैरागढ़ पुलिस को भी सिद्धू के खिलाफ मामला दर्ज कर कार्रवाई किए जाने के लिए आवेदन दिया है।
पार्टी द्वारा दिए गए शिकायती पत्र में कहा गया है कि कांग्रेस के स्टार प्रचारक नवजोतसिंह सिद्धू ने सभा के दौरान प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी की छवि खराब करने के लिए उन पर दुर्भावनापूर्ण एवं मनगढ़ंत आरोप लगाए थे। सिद्धू ने अपनी सभा में प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी को बड़ा राष्ट्रद्रोही और झूठा कहते हुए उन पर सरकारी कंपनियों को नुकसान और प्राइवेट कंपनियों को फायदा पहुंचाने का आरोप लगाया था। सिद्धू ने कहा था कि प्रधानमंत्री ने कुछ गलत लोगों फायदा पहुंचाने के लिए उन्हें देश से बाहर भगा दिया। पत्र में कहा गया है कि श्री सिद्धू ने यह आधारहीन और मनगढ़ंत आरोप जानबूझकर एक संवैधानिक पद पर पदस्थ प्रधानमंत्री को बदनाम करने, उनकी छवि खराब करने, अशांति भड़काने और शहर का वातावरण खराब करने के उद्देश्य से लगाए थे। इसलिए चुनाव आयोग से आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन का मामला दर्ज कर कार्रवाई की मांग की। वहीं, बैरागढ़ पुलिस को दिए आवेदन में पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष श्री प्रभात झा ने नवजोतसिंह सिद्धू के खिलाफ विभिन्न धाराओं के तहत प्रकरण दर्ज कर कार्रवाई की मांग की है।
राज्यपाल से मिलकर कार्रवाही की मांग की
प्रभात झा के नेतृत्व में पार्टी के प्रतिनिधिमंडल ने राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल को ज्ञापन सौंपकर कांग्रेस के स्टार प्रचार नवजोतसिंह सिद्धू पर कार्रवाही करने की मांग की। प्रतिनिधिमंडल में पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष श्री विजेश लुणावत, प्रदेश मीडिया प्रभारी श्री लोकेन्द्र पाराशर, श्री शांतिलाल लोढ़ा, श्री शैलेन्द्र शर्मा, श्री ओमशंकर श्रीवास्तव मौजूद थे। पार्टी द्वारा दिए गए ज्ञापन में कहा गया है कि कांग्रेस के स्टार प्रचारक नवजोतसिंह सिद्धू ने सभा के दौरान प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी की छवि खराब करने के लिए उन पर दुर्भावनापूर्ण एवं मनगढ़ंत आरोप लगाए थे। सिद्धू पर कठोर कार्रवाही करते हुए उनके चुनाव प्रचार पर प्रतिबंध लगाया जाए।
कब तक कांग्रेस के लिए दलितों के हित कुर्बान करती रहेंगी मायावतीः रजनीश अग्रवाल
भोपाल। बसपा सुप्रीमो मायावती एक तरफ तो दलितों के हित की बात करती हैं और दूसरी तरफ दलितों के हितों को राजनीतिक सौदेबाजी की बलि चढ़ाने में संकोच नहीं करतीं। यह बात भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता रजनीश अग्रवाल ने बसपा की अध्यक्ष मायावती के ट्वीट पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कही, जिसमें उन्होंने गुना के बसपा प्रत्याशी को डर-धमकाकर बिठाए जाने की बात करते हुए कांग्रेस को दिए समर्थन पर पुनर्विचार की बात कही है।
गुना से बसपा के उम्मीदवार ने अपनी उम्मीदवारी वापस ले ली है। इस सीट से कांग्रेस सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया भी चुनाव लड़ रहे हैं। बसपा उम्मीदवार के दावेदारी वापस लेने पर बसपा अध्यक्ष मायावती ने ट्वीट करते हुए कांग्रेस पर प्रशासनिक मशीनरी के दुरुपयोग और बसपा उम्मीदवार को डरा-धमकाकर बिठाए जाने की बात कही है। उन्होंने यह भी कहा है कि बसपा प्रदेश में कांग्रेस को समर्थन दिए जाने पर पुनर्विचार करेगी। इस पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता रजनीश अग्रवाल ने मायावती के इस गुस्से को हाथी के दिखाने वाले दांत करार दिया है। उन्होंने कहा कि है कि संभवतः बसपा सुप्रीमो को या तो चुनाव के लिए और पैसे की जरूरत है, या फिर वे कोई नया सौदा करना चाहती हैं, इसलिए समर्थन वापसी की बात कह रही है। श्री अग्रवाल ने कहा कि मायावती लंबे समय से दलितों के हितों को कांग्रेसी नवसामंतों के ऊपर कुर्बान करती रही हैं। उन्होंने उत्तरप्रदेश सहित देश के अन्य राज्यों में कांग्रेस से समझौता न करने की बात कही थी, फिर मध्यप्रदेश में वे कांग्रेस को समर्थन दे ही क्यों रही थीं? श्री अग्रवाल ने कहा कि बसपा अध्यक्ष अगर वास्तव में उनके उम्मीदवार को डरा-धमकाकर चुनाव मैदान से हटाने पर आहत हुई हैं, तो वे ट्वीट करके रस्म अदायगी क्यों कर रही हैं। अगर उन्हें वास्तव में इस बात का मलाल है, तो वे दलितों से कांग्रेस प्रत्याशी के खिलाफ वोट करने की अपील करें, वर्ना उनका यह आक्रोश दिखावटी ही माना जाएगा।