Publish Date:30-Oct-2019 22:34:17
पटना: नीतीश कुमार ने बुधवार को जनता दल यूनाइटेड (JDU) के राष्ट्रीय अध्यक्ष के रूप में अपना दूसरा कार्यकाल शुरू किया. दूसरी पारी की शुरुआत के साथ ही पार्टी केंद्र सरकार में शामिल नहीं होने के अपने पुराने रुख से यूटर्न लेती दिख रही है. जेडीयू के राष्ट्रीय महासचिव केसी त्यागी (KC Tyagi) ने दिल्ली में एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि अगर संख्या बल के आधार पर केंद्र सरकार में भागीदारी मिलती है और NDA के शीर्ष नेता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह के द्वारा प्रयास किया जाता है तो वह इसका स्वागत करेगी.
केसी त्यागी के बयान का सीधा अर्थ यह लगाया जा रहा है कि जनता दल यूनाइटेड केंद्रीय मंत्रिमंडल में शामिल नहीं होने के अपने स्टैंड पर अडिग नहीं है. वह मंत्रिमंडल में शामिल होना चाहती है, लेकिन सांकेतिक प्रतिनिधियों के आधार पर नहीं, बल्कि अपनी राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतीश कुमार के पुराने आनुपातिक प्रतिनिधित्व की मांग के आधार पर. दरअसल पार्टी के नेताओं का कहना है कि शीर्ष नेतृत्व का आकलन है कि महाराष्ट्र में शिवसेना के साथ सरकार बनाने में जो गतिरोध चल रहा है उसका जब भी समाधान होगा तब शायद BJP की तरफ़ से सेना को यह प्रस्ताव दिया जाए कि केंद्रीय मंत्रिमंडल में वह अपना प्रतिनिधित्व बढ़ा ले और तब जनता दल यूनाइटेड पीछे नहीं रहना चाहती है.उसका आकलन है कि ऐसी परिस्थिति में शायद BJP भी चाहेगी कि जनता दल यूनाइटेड केंद्रीय मंत्रिमंडल में शामिल हो. इसलिए अभी से जेडीयू ने अपनी बातों को सार्वजनिक कर एक तरह से गेंद BJP के पाले में डाल दिया है. जिससे अगर वह जनता दल यूनाइटेड के आनुपातिक प्रतिनिधित्व की मांग को माने भी तो उसका श्रेय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमित शाह को जाए. साथ-साथ जनता दल यूनाइटेड अपने कार्यकर्ताओं और नेताओं को संदेश देना चाहती है कि नीतीश कुमार की बात आखिरकार मानी गई. दूसरी तरफ जनता दल यूनाइटेड के नेताओं का भी कहना है यह सबकुछ महाराष्ट्र की राजनीति और BJP-शिवसेना के बीच आने वाले दिनों में सत्ता में भागीदारी के मुद्दे पर होने वाले समझौते के ऊपर निर्भर करता है.
भाजपा के नेताओं का कहना है कि निश्चित रूप से जनता दल यूनाइटेड के इस स्टैंड के बाद अब तक इस मुद्दे पर नीतीश कुमार के सार्वजनिक बयान के कारण जो गतिरोध था वो ख़त्म होगा. उनका कहना है कि जब से बिहार में भाजपा नीतीश सरकार में शामिल हुई है तब से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी नीतीश कुमार को 2019 लोकसभा चुनाव के पूर्व भी 2017 में सरकार में शामिल होने का न्योता दे चुके हैं.
साभार- एनडीटीवी