Publish Date:29-Nov-2017 19:38:00
मप्र खण्डवा के सोफ्टवेयर इंजीनियर ने बनाई पर्यटन विभाग की फर्जी वेवसाईटस
पर्यटन के क्षेत्रीय कार्यालय ले रहे थे फर्जी वेवसाईट से बुकिंग , पर्यटकों के लिये म0प्र0 पर्यटन के क्षेत्रीय मार्केटिंग कार्यालय पूना, इन्दौर एवं नागपुर के माध्यम से पर्यटकों के लिए आवास बुक कर दिए जाते थे। साइबर क्राइम पुलिस भोपाल ने एक ऐसे आरोपी को गिरफतार किया है जिसने पर्यटन विभाग के नाम पर फर्जी वेवसाईट्स बनाई थी, व पर्यटाकों से बुकिंग के नाम पर अवैध लाभ अर्जित करता था, आरोपी खण्डवा का रहने वाला है व पूना में मल्टीनेशनल कंपनी में कार्यरत् है ।
म0प्र0 पर्यटन विभाग निगम द्वारा दिनांक 26/10/17 को साइबर क्राइम पुलिस को किसी अज्ञात व्यक्ति द्वारा www.hanumatiyatapu.com , www.sailanitapu.com नाम की फर्जी वेवसाईट बनाकर हनुमंतिया आइलेण्ड तथा सैलानी आईलेण्ड वेवसाईटो को मध्यप्रदेश पर्यटन विभाग की (आॅफिसियल) वेवसाईट के रूप में प्रस्तुत करते हुए खण्डवा में मध्यप्रदेष पर्यटन विभाग के होटल/आवास बुक करने के सबंध में षिकायत दर्ज कराई गई थी।
अज्ञात आरोपी द्वारा दोनो वेवसाईट पर किसी भी प्रकार के संपर्क नंबर प्रदान न करते हुए सम्स्त जानकारी छुपाई गई थी। साइबर क्राइम पुलिस भोपाल द्वारा तकनीकी अनुसंधान एवं वेवसाईटों में डोमेन रजिस्ट्रार से जानकारी प्राप्त कर उक्त फर्जी वेवसाइटों के संचालक आरोपी नरसिंह चैहान पिता भागवत चैहान निवासी - हरजूद जिला-खण्डवा की पहचान स्थापित की गई । आरोपी पेषे से एक सोफ्टवेयर इंजीनियर है तथा पूना में एक मल्टीनेशनल कंपनी में कार्यरत है।
आरोपी द्वारा अपनी वेवसाइटों को मध्यप्रदेश पर्यटन विभाग की आॅफिसियल वेवसाइट के रूप में प्रस्तुत कर पर्यटकों को गुमराह कर हनुमंतियाटापू एवं सैलानीटापू खण्डवा में म0प्र0 पर्यटन विभाग में होटल/टेंट आवास की बुकिंग हेतु राषि प्राप्त की जा रही थी बाद में पर्यटकों के लिये म0प्र0 पर्यटन के क्षेत्रीय मार्केटिंग कार्यालय पूना, इन्दौर एवं नागपुर के माध्यम से पर्यटकों के लिए आवास बुक कर दिए जाते थे। तथा प्रस्तुत बुकिंग पर आरोपी 10 से 30 प्रतिषत तक डिस्काउन्ट प्राप्त करता था जिसकी जानकारी पर्यटकों को नहीं होती थी। आरोपी स्वयं अपनी वेवसाइटों के नाम पर पर्यटकों को बिल प्रदान कर देता था।
29/10/2016 से 21/11/2017 के बीच आरोपी द्वारा 340 बार बार लगभग 1200 पर्यटकों हेतु आवास बुकिंग कराया जाकर राशि रूपयें 38,31,792/- (अडतिस लाख इक्तिस हजार सात सौ बानवे ) रूपये का कारोबार करना तथा लगभग 10 लाख रूपये का लाभ अवैध रूप से अर्जित करना पाया गया ।